इस अहसास का ज़िक्र जब भी किया उससे,
अल्फ़ाज़ों के बिस्तर में चेहरा छुपा लिया,
वहीं नर्म तकिए पर गिरता मेरा आँसूँ,
नीम-बे-होशि में उसने अपनी आँखों में लिया।
---इशा---
अल्फ़ाज़ों के बिस्तर में चेहरा छुपा लिया,
वहीं नर्म तकिए पर गिरता मेरा आँसूँ,
नीम-बे-होशि में उसने अपनी आँखों में लिया।
---इशा---
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